दूध के भाव में , इजाफा , हवाए जहरीली, शातिर डकेतो का रावण राज , अपना आत्म सम्मान खोती जनता= सत्य के शव पर बनते , सत्तावादी तथा पूंजीवादी महल ,जनता भी भ्रमित= शातिर षडयत्र , सफ़ेद काली झूठ , राष्ट्रनीति हो रही= हे महाकाल , कल्पांत हेतु , तांडव , नृत्य तुरंत करो= देश के ९०%लोगो , अपने अपने कंकालो की रक्षा करो म, शातिर डकेत , उन्हें , लुटने आ रहे हें