जल संसाधन विभाग के पीएस ने कहा टेंडर लगा दिया, सीएम ने कहा दोबारा करो विचार
. उज्जैन:शिप्रा नदी को त्रिवेणी से रामघाट तक प्रदूषण रहित बनाने के लिए मंजूर 598 करोड़ 66 लाख के प्रोजेक्ट पर सीएम डॉ. मोहन यादव की आपत्ति के बाद जल संसाधन विभाग में हलचल मच गई है। सीएम ने इस पर दोबारा विचार करने का निर्देश दिया है। जबकि जल संसाधन विभाग इसका टेंडर जारी कर चुका है। हालांकि अभी वर्क ऑर्डर जारी नहीं हो सका है।
सिंहस्थ तैयारियों के लिए रविवार को प्रशासनिक संकुल में सीएम डॉ. यादव की अध्यक्षता में हुई बैठक में सबसे अधिक फोकस शिप्रा नदी शुद्धिकरण पर रहा। इसमें जल संसाधन विभाग की 598 करोड़ 66 लाख की कान्ह डायवर्शन क्लोज डक्ट योजना निशाने पर रही। सीएम डॉ. यादव ने विभाग के पीएस से कहा गंदा पानी एक जगह से निकालकर वापस दूसरी जगह शिप्रा में ही छोडऩे का क्या फायदा।
पूरी शिप्रा को साफ करने पर काम करें। पीएस ने बताया इसका टेंडर लगा चुके हैं। सीएम ने नाराज स्वर में कहा आप अपनी बात कर रहे हैं। शिप्रा देवास से निकलकर मंदसौर तक जाती है, इसलिए पूरी शिप्रा को देखकर बात कीजिए। अगर टेंडर निकाल दिया है तो इस पर दोबारा विचार कीजिए। जल संसाधन विभाग के मंत्री तुलसी सिलावट ने हाल ही पदभार ग्रहण करने के बाद इस योजना की समीक्षा की थी। रविवार की बैठक के बाद सरकार इस योजना को लेकर विभाग में हलचल मच गई है। जल्द ही इस पर सरकार कोई बड़ा फैसला लेगी। इस सिलसिले में सीएम डॉ. यादव और विभागीय मंत्री सिलावट के बीच चर्चा के बाद निर्णय लिया जाएगा। सरकार इसे निरस्त कर दूसरी योजना पर काम कर सकती है।
इंदौर में नए एसटीपी बनाएं, लेकिन पहले जैसी स्थिति न हो
इसके लिए सरकार बजट भी देगी लेकिन पिछले सिंहस्थ में एसटीपी बनाने के दौरान वादा किया गया था कि गंदा पानी शिप्रा में नहीं मिलेगा, लेकिन गंदा पानी मिल रहा है। पहले जैसी स्थिति न हो। पहले की योजना में क्या कमी रही, क्यों दिक्कत आई। क्या टेक्नोलॉजी पुरानी थी? सीएम ने पीएस मंडलोई से कहा पिछले सिंहस्थ में इंदौर नगर निगम को सिंहस्थ मद का पैसा मिला था और एसटीपी लगाने के बाद भी वह काम क्यों नहीं कर रहा, इसकी जांच कर रिपोर्ट प्रस्तुत करें। सीएम ने कहा नया बजट देंगे और जरूरत पड़ी तो जलशक्ति मंत्रालय से बात कर और राशि मांगेंगे पर पहले ठोस योजना तैयार करें।
सिर्फ डायवर्ट होगा गंदा पानी
कान्ह डायवर्शन क्लोज डक्ट योजना के अन्तर्गत खान नदी के 40 क्यूमैक नॉन मानसून फ्लो को डायवर्ट किया जाना प्रस्तावित।
100 मीटर लम्बाई में एप्रोच चैनल का निर्माण।
16.5 कि.मी. लम्बाई में 4.5 मीटर, ष्ठ-आकार के भूमिगत आर.सी.सी. बॉक्स का निर्माण।
अंतिम 100 मीटर लम्बाई में ओपन चैनल का निर्माण किया जाएगा।
परियोजना की निविदा पिछले साल 19 अप्रैल को खोली गई थी।
हैदराबाद की वेंसर कंस्ट्रक्शन कंपनी ने 15 प्रतिशत बिलो रेट पर काम करने का प्रस्ताव दिया है।
योजना के तहत खान नदी का गंदा पानी कालियादेह महल के आगे वापस शिप्रा में छोड़ा जाना है।
स्टॉपडेम और एसटीपी की बन रही योजना
शिप्रा का पानी साफ और स्वच्छ रखने के लिए स्टॉपडेम और एसटीपी लगाने की योजना अभी तैयार हो रही है।-नीरज कुमार सिंह, कलेक्टर