आज की कड़वी बातें[७-२-२०२३]हालात और समय नाजुक दोर में हें , अब तो सांसे किसी समय टूट जाटी हें= किसी भी समय , याद तो क्र लेना चाहिये , मुलाकाते हर किसी के भाग्य में नहीं होती= अब पथ्थरो के भगवान् भी रूठने लगे हें क्यों की हमारी भावनाए , सोच और निर्णय भी पथ्थर वाले हो गए हें= देश में हर आदमी बेचेन हें , अपने खुद के मंहगें कफन और दाह संस्कार को लेकरसमय कभी नही ठहरता , परिवर्तनशीलता उसका धर्म हें , वो तो बेकसूर हें , दोषी तो हम हें और हमारा झूठा अंहकार= जुमलेबाजो , शाब्दिक लफ्फाजो तथा सफ़ेद झूठ के देवताओं , सावधानतुर्कीसीरिया में मोत अपनी भूख मिटा रही हें , २५०० से अधिक खा कर , हम भी सावधान हो जाए ,किसी भी बहाने हमारी मोत हो जाए ,मोत दस्तक दे रही हें= धनकुबेरो से उनकी लक्ष्मी रूठ रही हें , उनके धन dna में झूठ , धोके और बेईमानी के तत्व भरे हें= अगली मुलाकाते तो तय हें, किन्तु स्थान ,समय और स्वरूप तय नहीं हें=राष्ट्र , जनता , सनातन धर्म और हर इंसान नाजी , कोकणी तथा कार्पोरेट्स के जहरीले नागो के जबड़े में हें , हमारा यही हाल होगा और उनका भी= चिंता और चिता साथ साथ दस्तक दे रही हम दोहरे संकट में= हम अपने अप को कमजोर मान रहे हें , यह हमारामहापाप हें , कृष्णत्व[जीवत्व] वादी बनो , शोर्य सूर्य हो जाओगे, सत्य की जमीन जरुरी